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Dard Shayari in Hindi 2020

Dard Shayari in Hindi 2020



1. फेर लेते हैं नज़र, दिल से भुला देते हैं, क्या यूँ ही लोग वाफ़ाओं का सिला देते हैं, वादा किया था फिर भी ना आए मज़ार पर, हमने तो जान दी थी इसी ऐतबार पर|

2. लिखूं कुछ आज यह वक़्त का तक़ाज़ा है, मेरे दिल का दर्द अभी ताज़ा ताज़ा है, गिर पड़ते हैं मेरे आँसू मेरे ही काग़ज़ पर लगता है कलम में स्याही का दर्द ज़्यादा है|

3. आरजू नहीं के ग़म का तूफान टल जाये, फ़िक्र तो ये है तेरा दिल न बदल जाये, भुलाना हो अगर मुझको तो एक एहसान करना, दर्द इतना देना कि मेरी जान निकल जाये|

4. मिलने का वादा कर गयी थी, वापस लौट आउंगी ये कहकर गयी थी, आई है अब वो जनाज़े पे मेरे, वादा वो अपना निभाने चली थी|

5. मेरी रूह में न समाती तो भूल जाता तुम्हे, तुम इतना पास न आती तो भूल जाता तुम्हे, यह कहते हुए मेरा ताल्लुक नहीं तुमसे कोई, आँखों में आंसू न आते तो भूल जाता तुम्हे|

6. इस तरह मिली वो मुझे सालों के बाद, जैसे हक़ीक़त मिली हो ख़यालों के बाद, मैं पूछता रहा उस से ख़तायें अपनी, वो बहुत रोई मेरे सवालों के बाद|

7. तिनके तिनके मे बिखरते चले गये, तन्हाई की गहराइयो मे उतरते चले गये, जन्नत थी हर शाम जिन दोस्तो के साथ, एक एक कर के सब बिछड़ते चले गये|

8. यू तो खामोश ही रहती है आँखे, अगर समझ सको तो बहुत कुछ कहती है आँखे, कौन कहता है की रोती है आँखे, रोता तो दिल है, मगर उसे भी कह देती है आँखे|

9. ये बेवफा वफा की कीमत क्या जाने, है बेवफा गम ऐ मोहब्बत क्या जाने, जिन्हे मिलता है हर मोड पर नया हमसफर, वो भला प्यार की कीमत क्या जाने|

10. उनके होंठो पे मेरा नाम जब आया होगा, खुदको रुसवाई से फिर कैसे बचाया होगा, सुनके फसाना औरो से मेरी बर्बादी का, क्या उनको अपना सितम ना याद आया होगा|

11. बेनाम सा यह दर्द ठहर क्यों नही जाता, जो बीत गया है वो गुज़र क्यों नही जाता, वो एक ही चेहरा तो नही सारे जहाँ मैं, जो दूर है वो दिल से उतर क्यों नही जाता|

12. वो करता है नजर अन्दाज तो, बुरा मत मान ऐ दिल, टूटकर चाहने वालो को सताना, रिवाज है मोहब्बत का|

13. हँसते हुए ज़ख्मों को भुलाने लगे हैं हम, हर दर्द के निशान मिटाने लगे हैं हम, अब और कोई ज़ुल्म सताएगा क्या भला, ज़ुल्मों सितम को अब तो सताने लगे हैं हम|

14
. वो पानी की लहरों पे क्या लिख रहा था, खुदा जाने वो क्या लिख रहा था, मोहब्बत में मिली थी नफरत उसे भी शायद, इसलिए हर शख्स को शायद बेवफा लिख रहा था|

15. कभी ग़म तो कभी तन्हाई मार गयी, कभी याद आ कर उनकी जुदाई मार गयी, बहुत टूट कर चाहा जिसको हमने, आखिर में उनकी ही बेवफाई मार गयी|


16. प्यार मे कोई दिल तोड़ देता है, दोस्ती मे कोई भरोसा तोड़ देता है, ज़िंदगी जीना तो कोई गुलाब से सीखे, जो खुद टूट कर दो दिलो को जोड़ देता है|

17. अब भी ताज़ा है ज़ख़्म सीने में, बिन तेरे क्या रखा है जीने में, हम तो ज़िंदा हैं तेरा साथ पाने को, वरना देर कितनी लगती है ज़हर पीने में|

18. तेरी याद मैं आंसुओ का समंदर बना लिया, तन्हाई क सहर मैं अपना घर बना लिया, सुना है लोग पूजते हैं पत्थर को, इसी लिए दिल अपना पत्थर बना लिया|

19. आँखों मे किसी सपने ने आना छोड़ दिया, होठो पर अब हंसी ने भी आना छोड़ दिया, अब तो हिचकियाँ भी नही आती, शायद आपने याद करना ही छोड़ दिया|

20. वो प्यार का सबूत दिखाया करता था, आँसू बहा कर मुझे मनाया करता था|

21. यह ज़िंदगी सिर्फ़ तुमसे वाबस्ता है, अक्सर यह बात मुझे बताया करता था|

22. उसकी बातों में कुछ ऐसा असर था, मैं बारिश के बिना ही भीग जाया करता था|

23. सोने की फ़ुर्सत किस को थी, वो मुझे सारी रात जगाया करता था|

24. बेचैनी जब हद से बढ़ जाती थी, वो जी भर के गले लगाया करता था|

25. वो इतनी मोहब्बत करने वाला बदल गया, जो साथ निभाने की कसम खाया करता था|

26. मेरी चाहत का अंदाज़ा ना लगा पाओगे, खुद को भूल जाओगे मगर हमको ना भुला पाओगे, एक बार हमसे जुदा होकर तो देखो, कसम तुम्हारी हमारे बगैर जीना भूल जाओगे|

27. दर्द है दिल में पर इसका एहसास नहीं होता, रोता है दिल जब वो पास नहीं होता, बर्बाद हो गए हम उसके प्यार में, और वो कहते हैं इस तरह प्यार नहीं होता|

28. सारी उमर पूजते रहे लोग, अपने हाथ से बनाए हुए खुदा को, हमने खुदा के हाथ से बने इंसान को चाहा, तो गुनहगार हो गये|

29. दिल में तमन्नाओं को दबाना सीख लिया, गम को आँखों में छिपाना सीख लिया, मेरे चहरे से कहीं कोई बात ज़ाहिर ना हो, दबा के होठों को हमने मुस्कुराना सीख लिया|

30. हादसे बनके लोग यहाँ मिला करते है, ज़ख़्म देने के ही सामान दिया करते है, रोज़ गिर जाती है दीवार तेरे वादों की, रोज़ ही हम मौत के साए में जिया करते है|

31. हंसकर देखा रोकर भी देख लिया, पाकर देखा खोकर भी देख लिया, प्यार भी किया ओर जान भी लिया, ज़िंदगी वही जी सकता है जिसने अकेले जीना सीख लिया|

32. रेत पर नाम कभी लिखते नहीं, रेत पर लिखे नाम कभी टिकते नहीं, तुम कहते हो पत्थर दिल हूँ मैं, पत्थर पर लिखे नाम कभी मिटते नहीं|

33. तन्हाई मेरे दिल में समाती चली गयी, किस्मत भी अपना खेल दिखाती चली गयी, महकती फ़िज़ा की खुशबू में जो देखा तुम को, बस याद उनकी आई और रुलाती चली गयी|

34. ज़िन्दगी के उलझे सवालो के जवाब ढूंढती हूँ, कर सके जो दर्द कम, वोह नशा ढूंढती हूँ, वक़्त से मजबूर, हालात से लाचार हूँ मैं, जो देदे जीने का बहाना ऐसी राह ढूंढती हूँ|

35. बहोत उदास हैं कोई तेरे जाने से, हो सके तो लौट के आ किसी बहाने से, तू लाख खफा सही मगर एक बार तो देख, कोई टूट गया तेरे रूठ जाने से|

36. मेरे दिल का दर्द किसने देखा है, मुझे बस खुदा ने तड़पते देखा है, हम तन्हाई में बैठे रोते हैं, लोगों ने हमें महफ़िल में हंसते देखा है|

37. तलाश कर मेरी कमी को अपने दिल में ए यार, दर्द हो तो समझ लेना की मोहब्बत अब भी बाकी है|

38. हद से बढ़ जाये ताल्लुक तो ग़म मिलते हैं, हम इसी वास्ते अब हर शख्स से कम मिलते हैं|

39. ऐ दिल न रख उम्मीदे वफ़ा किसी परिंदे से, जब पर निकल आते है तो अपने भी आशियाँ भूल जाते है|

40. तुम हमे जान पाते तुम्हे इतनी फुर्सत कहाँ थी, और हम तुम्हे भूल पाते हममे इतनी जुर्रत कहाँ थी|

41. आता ही नहीं उसके बिना जीना हमको, काश उस शख्स ने मरना भी सिखाया होता|

42. मोहब्बत के बाजार में दोपहर तक बिक गया हर एक झूठ, एक में ही शख्स था जो सच लेकर शाम तक बैठा रहा|

43. लाकर मेरे करीब तुझको दूर कर दिया, तकदीर भी मेरे साथ एक चाल चल गई|

44. कैसे कह दूँ कि बदले में कुछ नहीं मिला, सबक भी कोई छोटी चीज तो नहीं है|

45. करीब आने की ख्वाहिशें तो बहुत थी मगर, करीब आकर पता चला की मुहब्बत तो फासलों में है|

46. वो जिन्हें हमने सोंपी है दिल की सभी धडकनें, वो अपना एक पल देने को हजार बार सोचते है|

47. लगता है हम ही अकेले समझदार है, हर बात हमें ही समझाई जा रही है|

48. नफ़रत करते तो, अहमियत बढ़ जाती उनकी, मैंने माफ़ कर के उनको शर्मिंदा कर दिया|

49. बस यहीं मुहब्बत अधूरी रह गई मेरी, मुझे उसकी फ़िक्र रही और उसे दुनिया की|

50. प्यार आज भी तुमसे उतना ही हैं, तुम्हे एहसास भी नही, और हमने जताना भी छोड़ दिया|

51. तुम इस कदर साँसों में बस गयी हो मेरे, कि तुम्हारे पास होने का ख्याल भी सुकून दे जाता है|

52. सुना है दिल से याद करो तो खुदा भी आ जाते है, हमने तो साँसों को भी दाव पर लगा दिया फिर भी अकेले रह गए|

53. इतनी लम्बी उम्र की दुआ न मांग मेरे लिए, कहीं ऐसा न हो की तू छोड़ दे और मुझे मौत भी न आये|

54. किसी ने यूँ ही पूछ लिया की दर्द की कीमत क्या है, हमने भी हँसते हुए कहा की पता नहीं, कुछ अपने मुफ्त में दे जाते है|

55. ऐसा नहीं था की दिल में तेरी तस्वीर नहीं थी, पर हाथों में तेरे नाम की लकीर नहीं थी|

56. बेखबर भी रहते हो और खबर भी रखते हो, बात भी नही करते और प्यार भी करते हो|

57. नहीं कोई जानकारी मेरे पास मौसम की, बस इतना जानती हुँ, तेरी यादें तूफ़ान लाती है|

58. जिंदगी रही तो हर दिन तुम्हे याद करती रहूंगी, भूल गयी तो समझ लेना खुदा ने हमें याद कर लिया|

59. तुम लौटकर आ जाना जब भी तुम्हारा दिल करे, सौ बार भी लौटोगे तो हमें अपना ही पाओगे|

60. बाहों मैं भर के पूछा जब तुमने, कुछ ना बोले हम बस मुस्कुरा दिए|

61. जाना था आज तुम्हे हमसे दूर हमेशा के लिए, जाते जाते तेरे चेहरे से अश्क़ चुरा लिए|

62. मोहब्बत हाँथ में पहनी हुई चूड़ी के जैसी है, संवारती है, खनकती है, खनक कर टूट जाती है|

63. मेरी चाहत ने उसे ख़ुशी दे दी, बदले में उसने मुझे सिर्फ ख़ामोशी दे दी, खुदा से दुआ मांगी मरने की, लेकिन उसने बी तड़पने की लिए ज़िन्दगी दे दी|

64. मेरा हाल देखकर मोहब्बत भी शर्मिंदा है, की वो शख्स सब कुछ कर गया फिर भी जिन्दा है|

65. सुना था कभी किसी से, ये मोहब्बत की दुनिया है, हमने भी दिल लगा के देखा तो ये जाना, मतलब की दुनिया है और,ये तो जालिमों से भरा है|

66. फूल शबनम में डूब जाते है, जख्म मरहम में डूब जाते है, जब आते है ख़त तेरे, हम तेरे गम में डूब जाते है|

67. बाते तो बहुत करते हो, इश्क ओ ख़ुलूस की तुम| ज़रा अपने दिल में तो देख लो में हु भी या नहीं|

68. गम न कर हम तेरी राह में नहीं आयेगे, अगर आह भी गए तो तुझसे नज़रे नही मिलायेगे, जब होगा तुझे अपनी गलती का एहसास, तब तक हम किसी और के हो जायेंगे|

69. आज भी बहता हा उसका दिया हुआ ज़ख़्म, मियन चाह कर भी उसे सह न पाया, बस कहने के लिए जिंदा हु मैं तो यारो, पर मर्ज़ी के साथ कभी जी न पाया|

70. दर्द बन के दिल में छुपा कौन है, रह रह कर इसमें चुबता कौन है, एक तरफ दिल है और एक तरफ आइना, देखना है इस बार पहले टूटता कौन हो|

71. दर्द में इस दिल को तरपते देखा, संन्य हर रिश्ते को बिखरते देखा, कितने प्यार से सजाये खवाबो की दुनिया, उसी आँखों से अपने उजरते देखा|

72. हर बात में आंसू बहाया नहीं करते, दिल की बात हर किसी को बताया नहीं करते, लोग मुट्ठी में नमक लेके घूमते है, दिल के जख्म हर किसी को दिखाया नहीं करते|

73. किसी से न करेंगे प्यार इस तरह, न झेलना पड़ेगा जख्म इस तरह|

74. अपना ख्याल रखा करो मेरे लिए, बेशक़ सांसे तुम्हारी चलती है लेकिन तुम में जान तो हमारी बस्ती है|

75. जब सीना ग़म से भोजल हो और याद किसी की आती हो, तब कमरे में बंद हो जाना और चुपके चुपके रो लेना|

76. तलाश कर मेरी कमी को अपने दिल में ए यार, दर्द हो तो समझ लेना की मोहब्बत अब भी बाकी है|

77. समझाया था मैंने उसे की वो ही मेरी ज़िन्दगी है, चला गया मुझे छोड़ के ये जानते हुए की वो ही मेरा सहारा था|

78. मैं मर जाऊ तो मुझे जला देना, उससे पहले मेरा दिल को निकाल लेना, मुझे परवाह नहीं इस दिल की जल जाने की, मुझे परवाह है इस दिल में रहने वाली की|

79. पानी से तस्वीर कहा बनती है, ख्वाबों से तकदीर कहा बनती है, किसी भी रिश्ते को सच्चे दिल से निभाना, ये जिंदगी फिर वापस कहा मिलाती है|

80. दुनिया ने हम पे जब कोई इल्जाम रख दिया, हमने मुकाबिल उसके तेरा नाम रख दिया, इक ख़ास हद पे आ गई जब तेरी बेरुखी, नाम उसका हमने गर्दिशे अय्याम रख दिया|

81. बहुत चाहा उसको जिसे हम पा न सके, ख्यालों में किसी और को हम ला न सके, उसको देखकर आँसू तो पोंछ लिए, लेकिन किसी और को देखकर हम मुस्कुरा न सके|

82. हमने भी किसी से प्यार किया था, हाथो मे फूल लेकर इंतेज़ार किया था, भूल उनकी नही भूल तो हमारी थी, क्यों की उन्हो ने नही, हमने उनसे प्यार किया था|

83. बेख़ुदी ले गयी कहाँ हम को, देर से इंतज़ार है अपना, रोते फिरते है सारी सारी रात, अब येही रोज़गार है अपना|

84. खामोश जुबां पर तल्खी आही जाती है, दर्द अपनों ने दिया हो तो यह बातें आह ही जाती है|

85. कुछ पल की यह मोहब्बत कैसी, हमसे जुदा होने की ये हसरत कैसी, अभी तो वादे किये थे प्यार इश्क वफ़ा के, तो फिर हमसे दूर होने की ये चाहत कैसी|

86. उल्फत का अक्सर यही दस्तूर होता है, जिसे चाहो वही अपने से दूर होता है, दिल टूटकर बिखरता है इस कदर, जैसे कोई कांच का खिलौना चूर चूर होता है|

87. हर किसी की नसीब में कहाँ लिखी हैं चाहतें, कुछ लोग दुनिया में आते है तन्हाईयों की लिए|

88. मोहब्बत कि ज़ंज़ीर से डर लगता हे, कुछ अपनी तफलीक से डर लगता हे, जो मुझे तुजसे जुदा करते हे, हाथ कि वो लकीरो से डर लगता हे|

89. पत्थरों से प्यार किया नादान थे हम, गलती हुई क्योकि इंसान थे हम, आज जिन्हें नज़रें मिलाने में तकलीफ होती हैं, कभी उसी सक्श की जान थे हम|

90. दर्द से दोस्ती हो गई यारों, जिंदगी बे दर्द हो गई यारों, क्या हुआ जो जल गया आशियाना हमारा, दूर तक रोशनी तो हो गई यारो|

91. टूटे हुए काँच की तरह चकना चूर हो गया हूँ, किसी को चुभ न जाऊँ इसलिए सबसे दूर हो गया हूँ|

92. दुश्मन भी मेरे मुरीद हैं शायद, वक़्त बेवक्त मेरा नाम लिया करते हैं, मेरी गली से गुज़रते हैं छुपा के खंजर, रुबरु होने पर सलाम किया करते हैं|

93. मासूमियत का कुछ ऐसा अंदाज़ था मेरे सनम का, उसे तस्वीर में भी देखूं तो पलकें झुका लेती थी|

94. तेरे हाथ से मेरे होंट तक वोही इंतजार की पियास है, मेरे नाम की जो शराब थी कहीं रस्ते में छलक गई|

95. न पीछे मुड़ के देखो, न आवाज़ दो मुझको, बडी मुश्किल से सीखा है मैने अलविदा कहना|

96. उसकी आंखें झील सी गहरी तो हैं, उन आँखों मैं लेकिन तेरे लिए कोई बात नहीं|

97. वक्त के साथ कई दर्द मेरी जान अब पुराने निकले, कुछ गम ऐसे थे मेरी जान जो तेरे बहाने निकले|

98. वो जाते जाते अपनी आहट गए, इन सोयी आखों में अपना सपना दे गए, रहत मिलती थी उनके आने से, फिर भी वो तनहा कर गए|

99. आंखे उदास ताश के पते थे हाथ माय, खेरत की तरह मेरी तकदीर बात गये|

100. अब ये भी नहीं ठीक कि हर दर्द मिटा दें, कुछ दर्द कलेजे से लगाने के लिए हैं|

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